विष्णु यज्ञ पूजा भगवान विष्णु की पूजा का विशेष आयोजन होता है, जिसका मुख्य उद्देश्य उनकी पूजन और आराधना करना होता है। यह पूजा विष्णु भक्तों द्वारा बड़े श्रद्धा और भक्ति के साथ की जाती है और विष्णु भगवान की कृपा प्राप्ति और आशीर्वाद की प्रार्थना करने के लिए की जाती है।
विष्णु यज्ञ पूजा की प्रक्रिया में निम्नलिखित तरीके का पालन कर सकते हैं:
- पूजा स्थल की तैयारी: एक शुद्ध और पवित्र स्थल को पूजा के लिए तैयार करें।
- विष्णु मूर्ति या चित्र का स्थापना: विष्णु भगवान की मूर्ति या चित्र को पूजा स्थल पर स्थापित करें।
- विष्णु सहस्रनाम पाठ: विष्णु सहस्रनाम का पाठ करें, जो विष्णु भगवान के 1000 नामों की महिमा का वर्णन करता है।
- आरती: पाठ के बाद विष्णु भगवान की आरती करें और उन्हें फूल, दीपक और नैवेद्य से पूजें।
- भजन और कीर्तन: विष्णु भगवान के भजन या कीर्तन का प्रसंग करें।
- प्रसाद: पूजा के बाद विष्णु भगवान को प्रसाद के रूप में भोग चढ़ाएं और उसे फिर आप और आपके परिवार के सदस्यों के बीच बांटें।
- भक्ति और समर्पण: पूजा के समय विष्णु भगवान की भक्ति में लीन रहें और उनके प्रति अपनी समर्पणा और प्रेम को प्रकट करें।
नोट : पंडित जी की आकाशीय वृत्ती होती है इसको ध्यान में रखते हुए पूजा बुकिंग करते समय यह ध्यान दें पूजा बुक होने के पश्चात किसी भी प्रकार का कोई रिफंड नहीं किया जाएगा
यह सभी पूजा बुकिंग की निर्धारित दक्षिणा केवल वाराणसी मे मान्य है अन्यत्र शहर मे पूजा बुकिंग हेतु दक्षिणा बढ़ जाएगी |